अब नहीं हो पाएंगे Khatu Shyam Baba के दर्शन..
हर शनिवार रात से सुबह तक बंद रहेंगे मंदिर के कपाट.
उत्तराखंड: राजस्थान के सीकर जिले में स्थित विश्वविख्यात खाटू श्याम मंदिर को लेकर नई दर्शन व्यवस्था लागू की गई है। श्रद्धालुओं की लगातार बढ़ती भीड़ और व्यवस्थाओं को सुचारु बनाए रखने के उद्देश्य से मंदिर समिति ने एक नई गाइडलाइन जारी की है। नई व्यवस्था के तहत अब हर शनिवार की रात 10 बजे से सुबह 5 बजे तक मंदिर के कपाट बंद रहेंगे। इस अवधि में भक्त बाबा श्याम के दर्शन नहीं कर पाएंगे। यानी हर शनिवार करीब 7 घंटे तक मंदिर पूरी तरह श्रद्धालुओं के लिए बंद रहेगा। मंदिर प्रशासन के अनुसार यह निर्णय श्रद्धालुओं की सुविधा, मंदिर की साफ-सफाई, सुरक्षा और प्रबंधन को ध्यान में रखते हुए लिया गया है। श्रद्धालुओं से अपील की गई है कि वे नए समय के अनुसार अपनी यात्रा और दर्शन की योजना बनाएं। बता दे कि खाटू श्याम जी के दर्शन के लिए देशभर से लाखों श्रद्धालु प्रतिदिन सीकर पहुंचते हैं। ऐसे में भीड़ प्रबंधन और मंदिर की व्यवस्था बनाए रखना एक बड़ी चुनौती बन गया था। समिति का मानना है कि यह कदम भविष्य में भीड़ नियंत्रण और सुचारु संचालन में सहायक साबित होगा।
राजस्थान के सीकर जिले स्थित विश्वप्रसिद्ध खाटू श्याम मंदिर में श्रद्धालुओं के लिए नई दर्शन व्यवस्था लागू की गई है। मंदिर कमेटी द्वारा जारी नई गाइडलाइन के अनुसार अब हर शनिवार रात 10:00 बजे से लेकर रविवार सुबह 5:00 बजे तक मंदिर के कपाट बंद रहेंगे। इस दौरान कोई भी भक्त बाबा खाटू श्याम के दर्शन नहीं कर सकेगा। मंदिर कमेटी के मंत्री मानवेंद्र सिंह चौहान ने कहा कि यह निर्णय भीड़ नियंत्रण, मंदिर स्टाफ को विश्राम देने और व्यवस्थित संचालन के उद्देश्य से लिया गया है। उन्होंने कहा कि पुरानी परंपरा के तहत यह निर्णय दोबारा लागू किया गया है, ताकि मंदिर की गरिमा और व्यवस्था बनी रहे। कमेटी के अनुसार सप्ताहांत में श्रद्धालुओं की भीड़ अत्यधिक बढ़ जाती है, जिससे व्यवस्था बनाए रखना मुश्किल हो जाता है। इसी को देखते हुए हर शनिवार रात से रविवार सुबह तक का समय मंदिर के रखरखाव, सुरक्षा और सेवकों के विश्राम के लिए सुरक्षित रखा गया है। भक्तों से अपील की गई है कि वे दर्शन के लिए नए समय के अनुसार अपनी यात्रा की योजना बनाएं और बंद समय के दौरान मंदिर परिसर में न आएं। यह निर्णय मंदिर की सेवा, श्रद्धालुओं की सुविधा और परंपरागत अनुशासन को ध्यान में रखते हुए लिया गया हैं।
वैसे तो खाटू श्याम मंदिर में रोजाना लाखों की संख्या में श्रद्धालु पहुंचते हैं, लेकिन शनिवार, रविवार और छुट्टियों वाले दिन, खासकर त्योहारों पर, मंदिर परिसर में पैर रखने की भी जगह नहीं रहती। भीड़ का यह दबाव मंदिर प्रशासन के लिए एक बड़ी चुनौती बन चुका है। औसतन रोजाना करीब एक लाख से ज्यादा श्रद्धालु बाबा के दर्शन के लिए यहां आते हैं। ऐसे में ट्रस्ट द्वारा लिया गया यह निर्णय श्रद्धालुओं की सुविधा और सुरक्षा दोनों के दृष्टिकोण से अहम माना जा रहा है। कमेटी ने सभी श्रद्धालुओं से अनुरोध किया है कि वे निर्धारित बंद समय के दौरान दर्शन के लिए मंदिर परिसर में न आएं और दर्शन की योजना नए नियमों के अनुसार बनाएं। आपको बता दें कि महाभारत के युद्ध से पहले भगवान श्रीकृष्ण ने घटोत्कच के बेटे बर्बरीक को अपना सिर दान में देने की बात कही थी। बिना कुछ सोचे बर्बरीक ने अपना शीश श्रीकृष्ण को दान में दे दिया था। ऐसे में भगवान कृष्ण ने ये बर्बरीक को ये आशीर्वाद दिया थी कि कलियुग में तुम्हें मेरे नाम से पूजा जाएगा। इसके बाद से ही राजस्थान के सीकर में खाटू श्यान की बड़ी मान्यता है।